बिलासपुर रेलवे स्टेशन की लचर सुरक्षा व्यवस्था उजागर, दो युवकों से 8 धारदार चाकू जब्त

बिलासपुर। बिलासपुर रेलवे स्टेशन की सुरक्षा व्यवस्था एक बार फिर सवालों के घेरे में है। शनिवार रात तारबाहर पुलिस ने स्टेशन परिसर से दो युवकों को खतरनाक बटनदार फोल्डिंग चाकुओं की खेप के साथ गिरफ्तार किया, जिससे एक संभावित बड़ी अनहोनी टल गई।

पुलिस ने सुमीत चौरसिया (निवासी गौरेला) और निखिल साहू (निवासी सरकंडा) को हिरासत में लिया। सुमीत को प्लेटफॉर्म नंबर 7 से बाहर निकलते समय पकड़ा गया, जब एसीसीयू टीम ने उसकी संदिग्ध हरकतों पर तलाशी ली और उसके बैग से दो 8 इंच से अधिक लंबे बटनदार चाकू बरामद किए। वहीं, निखिल साहू, जो प्लेटफॉर्म की ओर से आ रहा था, उसके पास से 8 फोल्डिंग धारदार चाकू मिले। दोनों ने दावा किया कि वे बाबा धाम यात्रा से लौट रहे थे, लेकिन न तो उनके पास चाकुओं की खरीद का बिल था, न कोई प्रमाण और न ही लाइसेंस।

आयुध अधिनियम के तहत मामला दर्ज

तारबाहर पुलिस ने दोनों युवकों के खिलाफ आयुध अधिनियम की धारा 25 के तहत मामला दर्ज किया है और यह जांच कर रही है कि ये हथियार कहां से लाए गए और इनका मकसद क्या था। इस घटना ने रेलवे स्टेशन की सुरक्षा व्यवस्था की पोल खोल दी है। दोनों युवक बिना किसी स्कैनिंग के हथियार लेकर ट्रेन में चढ़े और स्टेशन से बाहर निकल आए। न तो बैग स्कैनर, न जांच गेट और न ही आरपीएफ या जीआरपी की नियमित गश्त थी।

रेलवे की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल

बिलासपुर रेलवे स्टेशन का पुनर्विकास कागजों में भले ही दर्ज हो, लेकिन जमीनी स्तर पर सुरक्षा इंतजाम न के बराबर हैं। स्थानीय लोगों और यात्रियों ने चिंता जताई है कि यदि रेलवे प्रशासन ने जल्द ही सुरक्षा व्यवस्था में सुधार नहीं किया, तो भविष्य में बड़ी अनहोनी हो सकती है। तारबाहर पुलिस की त्वरित कार्रवाई ने इस बार खतरे को टाल दिया, लेकिन रेलवे को अब अपनी सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत करने की जरूरत है।