मुड़ापार में गहराया जल संकट और गंदगी का आलम, निवासियों में उबाल

कोरबा। नगर पालिक निगम के वार्ड क्रमांक 29 मुड़ापार में पेयजल संकट और साफ-सफाई की बदहाली ने निवासियों का जीना मुहाल कर दिया है। कुछ लोग अवैध रूप से नलों में टुल्लू पंप लगाकर पानी खींच रहे हैं, जिससे अन्य घरों तक पानी की आपूर्ति नहीं हो पा रही है। इससे परेशान वार्डवासी पानी के लिए इधर-उधर भटकने को मजबूर हैं।

स्थानीय लोगों ने कई बार निगम अधिकारियों का ध्यान इस ओर आकर्षित करते हुए टुल्लू पंप लगाने वालों के खिलाफ अभियान चलाकर कार्रवाई की मांग की, लेकिन प्रशासन की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। नतीजतन, जल संकट जस का तस बना हुआ है।

पानी की किल्लत के साथ-साथ वार्ड में साफ-सफाई की स्थिति भी चिंताजनक है। सफाई ठेकेदार द्वारा नालियों की सफाई और कचरे को हटाने की ओर कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा। नालियां जाम होने से गंदा पानी सड़कों और लोगों के घरों में घुस रहा है, जिससे दुर्गंध और संक्रामक बीमारियों का खतरा बढ़ गया है। स्थानीय निवासी रमेश साहू ने बताया, “जाम नालियों और गंदगी के ढेर से पूरा मोहल्ला बदबू से भरा है। बच्चे और बुजुर्ग बीमार पड़ रहे हैं।”

वार्ड पार्षद ने भी बार-बार निगम अधिकारियों और सफाई ठेकेदार से जाम नालियों की सफाई और कचरे को हटाने की मांग की, लेकिन उनकी बातों को अनसुना किया जा रहा है। इससे पार्षद और वार्डवासियों में गहरा आक्रोश व्याप्त है। एक निवासी, शांति बाई, ने कहा, “बारिश का मौसम आने वाला है। अगर अब सफाई नहीं हुई, तो स्थिति और बदतर हो जाएगी।”

आक्रोशित निवासियों ने अब इस समस्या के समाधान के लिए नगर निगम कार्यालय का घेराव करने का फैसला किया है। सामाजिक कार्यकर्ता अनिल वर्मा ने चेतावनी दी, “अगर प्रशासन ने जल्द ही पानी और सफाई की समस्या का समाधान नहीं किया, तो हम सड़कों पर उतरेंगे और निगम कार्यालय का घेराव करेंगे।”

नगर निगम के अधिकारियों से इस संबंध में जवाब लेने की कोशिश की गई, लेकिन कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली। अब सवाल यह है कि क्या प्रशासन समय रहते इस संकट का समाधान करेगा, या वार्डवासियों का आक्रोश आंदोलन का रूप ले लेगा।

प्रशासन से मांग: निगम प्रशासन से अपील है कि मुड़ापार में अवैध टुल्लू पंपों के खिलाफ कार्रवाई, पेयजल आपूर्ति सुचारू करने और साफ-सफाई की व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए तत्काल कदम उठाए जाएं।